वार्निश के प्रकार । Types of Varnish in Hindi

वार्निश ऐसा घोल होता है, जिसमें रेजिन और शोषक तेल के मिश्रण किसी वाष्पशील विलायक में अच्छी तरह मिलाएं गए होते हैं जिसके फलस्वरूप वार्निश बनता है। वार्निश को विलायक के आधार पर कई भागों में बांटा जाता है और कई प्रकार के होते हैं।


Varnish के प्रकार -:

समान्यतः वार्निश (Varnish) को 5 भागे बांटा गया है -

1. तेल वार्निश (Oil Varnish)

2. स्प्रिट वार्निश (Spirit Varnish)

3. मोम वार्निश (Wax Varnish)

4. पानी वार्निश (Water Varnish)

5. तारपीन वार्निश (Turpentine Varnish)


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1. तेल वार्निश (Oil Varnish) -:

इस वार्निश को तैयार करने के लिए कठोर रेजिन प्रयोग में लाया जाते हैं। ये रेजिन अम्बर और कोपल इत्यादि होते हैं। जिन्हें अलसी के तेल में घोलकर तैयार किया जाता है। इस प्रकार तेल वार्निश को तैयार कर दिया जाता है। तेल वार्निश में जब थोड़ी मात्रा में तारपीन का तेल (Turpentine Oil) मिश्रित किया जाता है तो यह पूरी तरह से तैयार हो जाता है। इस प्रकार निर्मित वार्निश से कठोर तथा टिकाऊ परत आसानी से तैयार की जा सकती है। किन्तु यह सूखने में थोड़ा अधिक समय लगा सकता है। तेल वार्निशों का प्रयोग सामान्यतः खुली सतहों पर सबसे अधिक किया जाता है और साथ-साथ कोचों (Coaches) तथा घरेलू फिटिंग्स (Domestic Fittings) पर भी तेल वार्निश का उपयोग करते हैं।


2. स्प्रिट वार्निश (Spirit Varnish) -:

स्प्रिट वार्निश (Spirit Varnish) को बनाने के लिए मिथाइलेटेड स्प्रिट में मृदु रेजिनों व चपड़ा (Shellac) आदि को घोलकर तैयार किया जाता है। इस स्प्रिट में वांछित रंगों के वर्णक को मिलाकर विभिन्न रंगों के शेड्स आसानी से बनाये जा सकते हैं। इस स्प्रिट वार्निश को तैयार करने के लिए एक किग्रा शुद्ध चपड़े को 6 से 7 लीटर मिथाइलेटेड स्प्रिट में घोला जाता है। जब इस वार्निश को सतह पर लगाया जाता है तो यह बहुत ही शीघ्रता से सूख जाती है। परन्तु यह वार्निश मजबूत परत सतह पर नहीं बनाती है और वायुमंडल प्रभाव से यह वार्निश बहुत ही जल्दी से खराब हो जाती है। स्प्रिट वार्निश को एक उत्तम श्रेणी की फ्रेन्च पालिश माना जाता है और यह इसी नाम से प्रसिद्ध भी होता है। स्प्रिट वार्निश (Spirit Varnish) का प्रयोग अच्छी श्रेणी की लकड़ी से बने फर्नीचर को वार्निशिंग करने के लिए किया जाता है। यह वार्निश बाहरी सतहों के लिए उपयुक्त नहीं होता है।


3. मोम वार्निश (Wax Varnish) -:

यह वार्निश अलसी के तेल में मोम मिश्रित करके बनाई जाती है। इस वार्निश में आवश्यकतानुसार तारपीन का तेल भी मिलाया जाता है। मोम और तेल का प्रयोग करके जो घोल तैयार होता है उसे मोम वार्निश (Wax Varnish) कहते हैं। मोम वार्निश (Wax Varnish) का प्रयोग उच्च श्रेणी के फर्नीचर, मोजाइक फर्श (Moziac Floors) आदि की पालिश करने में किया जाता है।


4. पानी वार्निश (Water Varnish) -:

इस वार्निश को बनाने के लिए चपड़े को गर्म पानी में घोला जाता है और गर्म पानी में अमोनिया, बोरेक्स, पोटाश में से किसी एक को मिलाया जाता है। इस प्रकार पानी वार्निश तैयार हो जाता है। अब हम इसका उपयोग आसानी से कर सकते हैं।


5. तारपीन वार्निश (Turpentine Varnish) -:

इस वार्निश को बनाने के लिए मृदु रेजिन को तारपीन के तेल में मिला करके तैयार किया जाता है। मृदु रेजिन के रूप में गम डामर (Gum Dammar), मास्टिक (Mastic) तथा रोसिन (Rosin) जैसे पदार्थो का उपयोग किया जाता है। इस वार्निश के अंदर यह गुण होता है कि यह शीघ्र सूख जाती है। यह वार्निश सामान्यतः हल्के रंगों (Light Colours) की होती है। तेल वार्निश की तुलना में यह वार्निश अधिक टिकाऊ नही होती है।


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