वेल्ड धातु स्थान्तरण (Weld Metal Transfer) क्या है । प्रकार

वेल्ड धातु स्थान्तरण (Weld Metal Transfer in Hindi)

ऐसी प्रक्रिया जिसमें, वेल्डिंग करते समय इलेक्ट्रोड की धातु पिघलकर द्रव अवस्था मे बूंदों के रूप में कार्यखण्ड के वेल्ड पूल ( Weld Pool) में गिरती है तो, इलेक्ट्रोड से पिघली हुई धातु को, कार्यखण्ड के वेल्ड पूल में गिरने की प्रक्रिया को वेल्ड मेटल ट्रांसफर (Weld Metal Transfer) कहते हैं। इलेक्ट्रोड से पिघलकर जो धातु वेल्ड पूल में गिरती है उसे पूरक धातु (Fiiler Matal) कहते हैं।

इलेक्ट्रोड से पिघलकर बूंद के रूप बाहर निकलने वाली धातु फिलर मेटल ही कार्यखण्डों को आपस मे जोड़ने का महत्वपूर्ण कार्य करती है।


वेल्ड धातु स्थान्तरण के प्रकार (Type of Weld Metal Transfer in Hindi)

वेल्डिंग में धातु स्थान्तरण की यह क्रिया दो प्रकार से होती है-

1. डीप ट्रांसफर (Dip Transfer) या शार्ट सर्किट (Short Circuit Transfer)

2. फ्री फ्लाइट ट्रांसफर (Free Flight Transfer


1. डीप ट्रांसफर (Dip Transfer) या शार्ट सर्किट (Short Circuit Transfer) in Hindi

जब इलेक्ट्रोड का धातु पिघल कर द्रव की बूंदों के रूप में लटकते हुए वेल्ड पूल के बेस मेटल पर जैसे ही स्पर्श करता है तो आर्क तुरंत बुझ जाती है परन्तु जैसे ही पिघली हुई धातु की बूंद पूरी तरह से इलेक्ट्रोड से अलग होती है तो आर्क पुनः तुरन्त जलने लगता है। इस तरह हम आसानी से समझ सकते हैं कि वेल्ड मेटल ट्रांसफर की इस विधि में आर्क बार-बार जलता और बुझता है।

Dip Transfer की इस विधि में इलेक्ट्रोड, वेल्ड पूल में डूबा रहता है। जिससे शॉर्ट-सर्किट हो जाता है और इलेक्ट्रोड से अधिक मात्रा में करंट प्रवाहित होने लगती है।

जब इलेक्ट्रोड में अधिक मात्रा में करंट बहता है तो ऊष्मा भी अधिक उत्पन्न होती है। जिससे इलेक्ट्रोड पिघलने लगता है और पिघलकर वेल्ड पूल में गिरता है।


2. फ्री फ्लाइट ट्रांसफर (Free Flight Transfer in Hindi)

यह धातु स्थान्तरण की ऐसी विधि है जिसमें, आर्क की लंबाई अधिक होने के कारण, जब इलेक्ट्रोड का धातु पिघलकर गिरता है तो पिघले हुए धातु को आर्क में से होकर कार्यखण्ड के वेल्ड पूल में गिरना पड़ता है। इस प्रकार पिघले हुए इलेक्ट्रोड की बूंदों का स्वतन्त्र रूप से वेल्ड पूल में गिरना ही, धातु स्थान्तरण की फ्री फ्लाइट ट्रांसफर (Free Flight Transfer) विधि कहलाती है।

फ्री फ्लाइट ट्रांसफर विधि को प्रायः 4 भागों में बांटा गया है जो निम्न हैं - 

A) जैट टाइप ट्रांसफर (Jet Type Transfer)

B) फुहार टाइप ट्रांसफर (Spray Type Transfer) या Drop Spray

C) ग्लोब्युलर टाइप ट्रांसफर (Globular Type Transfer)

D) सब्थ्रैशोल्ड टाइप ट्रांसफर (Subthreshold Type Transfer)


A) जैट टाइप ट्रांसफर (Jet Type Transfer)

वेल्ड मेटल ट्रान्सफर विधि में जब इलेक्ट्रोड को अधिक मात्रा में करण्ट की सप्लाई हो जाती है तो उष्मा अधिक मात्रा में उत्पन्न होती है जिसके कारण इलैक्ट्रोड का सिरा टेपर हो जाता है। इलैक्ट्रोड का सिरा टेपर हो जाने के कारण इलैक्ट्रोड से पिघली धातु का जो बूंद, जैट वैल्ड पूल में गिरता है, उस बूंद का व्यास इलैक्ट्रोड के व्यास का आधा होता है।


जैट टाइप ट्रांसफर (Jet Type Transfer) विधि में बीड का पैनीट्रेशन पतला , अच्छा और गहरा प्राप्त होता है।


B) फुहार टाइप ट्रांसफर (Spray Type Transfer)

वेल्ड मेटल ट्रान्सफर के इस विधि में, इलेक्ट्रोड को करंट, जैट टाइप ट्रांसफर की तुलना में कम मिलता है जिसके कारण इलेक्ट्रोड की पिघली धातु की बूंदों का व्यास लगभग इलैक्ट्रोड के व्यास के बराबर होता है।


वेल्डिंग में मेटल ट्रांसफर की इस विधि की फुहार टाइप ट्रांसफर (Spray Type Transfer) या Drop Spray भी कहते हैं। इस धातु स्थानान्तरण विधि में सबसे कम Spattering तथा धुंआ होता है और धातु ट्रांसफर की दक्षता सबसे अधिक होती है। इस विधि के द्वारा अच्छी गुणवत्ता की बीड और पैनीट्रेशन प्राप्त होती है।


C) ग्लोब्युलर टाइप ट्रांसफर (Globular Type Transfer)


इस विधि में आर्क की लंबाई, मीडिया से भी अधिक होती है। पिघले हुए इलेक्ट्रोड की बूंदे अधिक समय तक इलेक्ट्रोड से चिपकी रहती हैं जिसके कारण पिघले हुए इलेक्ट्रोड की बूंदे, इलेक्ट्रोड के व्यास से 2 गुना बड़ी होती है। Globular Type Transfer , फ्री फ्लाइट ट्रांसफर के अंतर्गत आता है।


D) सब्थ्रैशोल्ड टाइप ट्रांसफर (Subthreshold Type Transfer)


वेल्ड मेटल ट्रान्सफर के इस विधि में ऐसा माना जाता है कि   फिलर धातु अर्थात पिघले इलेक्ट्रोड की बूंदे , इलेक्ट्रोड के व्यास से काफी अधिक होती हैं। Subthreshold Type Transfer विधि में इलेक्ट्रोड की पिघली बूंदे, अन्य मेटल ट्रांसफर के प्रकारों की तुलना में सबसे अधिक व्यास वाली होती हैं। इस विधि में भी पिघली हुई फिलर धातु अधिक समय तक इलेक्ट्रोड से चिपकी रहती है।



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