टैकोमीटर (Techometer) क्या है? उपयोग - Digital Sensor

टैकोमीटर (Techometer in Hindi) -:

टैकोमीटर एक डिजिटल सेंसर होता है जिसके द्वारा किसी घुमाऊ डिस्क की गति का मापन किया जाता है। यह घूमने वाले डिस्क या शाफ्ट की स्पीड को मापता है। टैकोमीटर सेंसर के आउटपुट में एक डिस्प्ले लगा होता है जो अंको को दर्शाता है। यह चक्र प्रति मिनट को किसी एनलॉग डायल में दर्शाने का कार्य करता है।

जब कोई डिस्क घुमाऊ शाफ्ट पर लगा होता है तो डिस्क की परिधि पर अधिक संख्या में स्लॉट बने होते हैं और जब डिस्क घूमता है तो घूमने के कारण प्रत्येक स्लॉट, सेंसर द्वारा पास हो जाता है। जैसे ही स्लॉट सेंसर के द्वारा पास होता है एक आउटपुट सिग्नल टेकोमीटर को प्राप्त हो जाती है। टैकोमीटर इस निकलने वाले Pluse सिग्नल को लॉजिक के रूप में प्रदर्शित करता है। Pluse को पुनः काउंटर में भेज दिया जाता है काउंटर Pluse को काउंट कर लेता है।


टैकोमीटर (Techometer in Hindi) । उपयोग
टैकोमीटर

ऐसा माना जाता है कि पहला टैकोमीटर को ब्रायन डोनकिन ने 1810 में बनाया था। उन्होंने टैकोमीटर का वर्णन रॉयल सोसायटी आप आर्ट्स के एक पन्ने पर किया था। जिसके कारण उन्हें स्वर्ण पदक से सम्मानित किया गया।

जर्मन इंजीनियर Dietrich Uhlhorn ने 1817 में मशीनों की गति को मापने के लिए टैकोमीटर का उपयोग किया। सामान्यतः इसका उपयोग सन 1840 से मशीनों और इंजनों की गति मापने के लिए किया जाता है।



टैकोमीटर वाहनों, कार, विमानों इत्यादि में लगे होते हैं जो कि यह दिखाते हैं कि इंजन की स्पीड कितनी है। ध्यान देने योग्य बात यह है कि इसके द्वारा गाड़ी की स्पीड नही बताई जाती है। इसके द्वारा इंजन की स्पीड अर्थात शाफ्ट और डिस्क की स्पीड बताई जाती है।


टैकोमीटर के उपयोग (Uses of Techometer in Hindi) -:

टैकोमीटर का उपयोग गाड़ी, मोटर, विमान, ट्रैक्टर, कार इत्यादि में शाफ्ट की गति को माप कर डिस्प्ले पर प्रदर्शित करता है जिससे वह गाड़ी मोटर को चलाने वाले ड्राइवर को सूचना मिलती रहती है कि उसके द्वारा चलाए जा रहे वाहन के Engine की RPM कितनी है। प्रत्येक स्थान जहां पर शाफ्ट या डिस्क की स्पीड मापनी होती है वहां पर टैकोमीटर ही उपयोग में लाया जाता है।

टैकोमीटर का प्रयोग यातायात की गति और प्रवाह को ज्ञात करने के लिए किया जाता है। वाहन सेंसर से लैस होता है और  वह "टैक रन" करता रहता है। सेंसर से लैस होने के कारण ट्रैफिक डेटा को रिकॉर्ड भी करता रहता है। अब डेटा को अंको के रूप से प्रदर्शित करने के लिए बड़ी संख्या में रनों की डाटा को इकट्ठा करता है और उसे RPM के रूप में बाहर भेज देता है।


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